तीन बच्चों की हत्यारिन मां को कोर्ट ने सुनाई फांसी की सजा !

प्रेमी को कोर्ट ने सुनाई आजीवन कारावास की सजा
-प्रेम प्रसंग में तीन अबोध बच्चों को सेंगुर नदी में डुबोकर हत्या करने का मामला*
जीटी 7 डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क टीम औरैया, कानपुर मंडलब्यूरो रिपोर्ट, रामप्रकाश शर्मा। 10 जुलाई 2025
औरैया, जनपद के थाना क्षेत्र के गांव बरौआ निवासी तीन बच्चों की हत्यारिन मां को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सैफ अहमद ने धारा 302 में फांसी की सजा सुनाई है। वहीं उसके प्रेमी को कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा से दंडित किया है। इस मामले में कोर्ट ने फांसी की सजा पाने वाली मां को ढाई लाख व आजीवन सजा पाने वाले प्रेमी को एक लाख रुपये अर्थदंड की सजा से दंडित किया है।

इस मामले में पैरवी कर रहे डीजीसी अभिषेक मिश्र व एडीजीसी उमेश कुमार राजपूत ने बताया कि तीन बच्चों की सेंगुर नदी में डुबोकर हत्या करने के संबंध में बताया कि इटावा जिले के चौबिया थाना क्षेत्र के ग्राम लुहिया कला निवासी देवर मनीष पुत्र सुरेंद्र सविता ने 27 जून 2024 को सदर कोतवाली में भाभी प्रियंका व उसके प्रेमी बरौआ निवासी आशीष उर्फ डैनी के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई। जिसमें बताया कि उसके बड़े भाई अवनीश की दो साल पहले मृत्यु हो चुकी है। उसकी पत्नी प्रियंका अपने बच्चों सोनू (09), माधव (06), आदित्य (04) व मंगल (02) के साथ बरौआ थाना फफूंद में रहती थी। जहां आशीष से उसकी भाभी का प्रेम प्रसंग हो गया। 27 जून 2024 की सुबह लगभग पांच बजे आशीष व प्रियंका ने योजना बनाकर चारों भतीजों को लेकर ग्राम ताल्हेपुर पुल के पास स्थित सेंगुर नदी पर ले गई। जहां चारों बच्चों को नदी में डुबोकर जान से मारने का प्रयास किया। इस घटना में सोनू किसी तरह से अपनी जान बचाकर मौके से भाग गया। जबकि तीन अन्य भतीजों की मौत हो गई। पुलिस ने दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। साथ ही रिपोर्ट दर्ज कर प्रियंका व आशीष उर्फ डैनी के खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट प्रस्तुत की।
इस मामले की सुनवाई न्यायालय अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश की कोर्ट में चली। गुरुवार को इसका निर्णय सुनाया गया। इस मामले में एडीजीसी उमेश कुमार राजपूत ने मां प्रियंका व उसके प्रेमी आशीष उर्फ डैनी को तीनों बच्चों को साजिश के तहत नदी में डुबोकर मारने का कृत्य विरल से विरलतम बताया। कहा कि अबोध बच्चों की हत्या करना एक घृणित कृत्य है, जो समाज व मानवता के विरुद्ध है। इसके लिए अभियुक्तों को मृत्युदंड की सजा दी जाए। जबकि मुल्जिमों की ओर से पैरवी कर रहे अधिवक्ता ने उन्हें कम से कम दंड दिए जाने की बात कही। दोनों अधिवक्ताओं की दलीलें सुनने के बाद अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सैफ अहमद ने अभियुक्त प्रियंका को अपने पुत्रों की हत्या करने का दोषी मानते हुए फांसी की सजा सुनाई। वहीं उसके प्रेमी आशीष उर्फ डैनी को आजीवन कारावास की सजा से दंडित किया। कोर्ट ने दोषी प्रियंका पर ढाई लाख रुपये व आशीष पर एक लाख रुपये अर्थदंड भी लगाया। इस प्रकरण में कोर्ट ने अर्थदंड की जमा कराई गई धनराशि का 75 प्रतिशत डूबने से बचे बालक सोनू को अदा करने का भी आदेश दिया। दोनों सजा पाए दोषियों को जिला कारागार इटावा भेज दिया गया है।
*इनसेट—*
*अब तक औरैया न्यायालय से छह लोगों को सुनाई जा चुकी है फांसी की सजा*
*जिले में पिछले 18 सालों में न्यायालय से विभिन्न गंभीर मामलों में छह दोषियों को फांसी की सजा सुनाई गई है*
*अब तक सुनाई गईं फांसी की सजाओं में—*
2007 में थाना फफूंद की घटना ने एक व्यक्ति ने पत्नी की हत्या की थी। उसमें पति को फांसी की सजा सुनाई गई थी। 2019 में एरवाकटरा थाना क्षेत्र में एक 13 वर्षीय बालिका जो घर में पढ़ रही थी। एक तरफा प्रेम प्रसंग में आरोपी ने घर में घुसकर उसकी गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस प्रकरण में दोषी को र्को ने फांसी की सजा सुनाई थी। 2022 में बिधूना कोतवाली क्षेत्र में साढ़े तीन साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म करने के दोषी को कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई थी।2023 में अयाना थाना क्षेत्र में एक आठ वर्षीय बच्ची से दुष्कर्म करने के दोषी को कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई थी। 2024 में दिबियापुर थाना क्षेत्र में नाबालिग से दुष्कर्म व हत्या के मामले में दोषी को कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई थी।