हार्डअटैक की पहचान व समय से उपचार डॉ ए के शर्मा

ग्लोबल टाइम्स-7
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न्यूज नेटवर्क
अनूप गौङ
लखनऊ
लखनऊ के होटल हिल्टन में आयोजित १०वीं क्लिनिकल कार्डियोलॉजी एण्ड इकोकार्डियोग्राफी अपडेट २०२३ में बतौर वक्ता एवं हृदय रोग विशेषज्ञ प्रतिभाग किया।सम्मेलन में हार्ट अटैक की पहचान व समय से उपचार के सम्बन्ध में विस्तृत चर्चा हुई।अगर किसी व्यक्ति को सीने के बीचो-बीच तेज दर्द अचानक उठ रहा है ख़ासतौर से बी०पी० व शुगर के मरीजों को,तो उन्हें तुरन्त चिकित्सक से सम्पर्क करना चाहिये।प्राथमिक उपचार के तौर पर इन मरीजों को ३२५ मिलीग्राम डिस्पिरिन की गोली तुरन्त चबा कर निगल लेनी चाहिये।दर्द से आराम के लिये पाँच मिलीग्राम की सॉरबिट्रेट की गोली जीभ के नीचे रख कर चूसना चाहिये।चिकित्सक के पास पहुँचने पर दस मिनट के अन्दर रोगी का ई०सी०जी० हो जाना चाहिए।ई० सी० जी० के आधार पर अगर गम्भीर हार्ट अटैक (STEMI) है तो ६० मिनट के अन्दर रोगी की एंजियोग्राफी व एंजियोप्लास्टी हो जानी चाहिये।अगर मरीज कैथ लैब की सुविधाओं से युक्त हॉस्पिटल में पहुँचने में असमर्थ है या फिर दो घण्टे से ज्यादा का समय लग रहा है तो उसे खून पतला करने वाले इंजेक्शन (थ्रोमबोलिसिस) लगा देना चाहिये और उसके बाद २४ घण्टे के अन्दर एंजियोग्राफी वाले सेण्टर पर भेज देना चाहिये।समय पर उचित निर्णय से हार्ट अटैक से होने वाली काफी आकस्मिक मौतों को रोका जा सकता है।सम्मेलन के सफल आयोजन के लिये डा० साजिद बधाई के पात्र हैं आपके द्वारा चिकित्सीय ज्ञान के प्रचार-प्रसार के लिये आयोजित होने वाले सम्मेलन वास्तव में प्रशंसनीय हैं।