जिला अधिकारी ने पराली जलाने के दुष्परिणों को लेकर किया जागरूक

जीटी-7, डॉक्टर धर्मेंद्र गुप्ता न्यूज़ एडिटर मैनेजमेंट डिपार्मेंट लखनऊ उत्तर प्रदेश।
10 अक्टूबर 2023
#औरैया।
जिलाधिकारी नेहा प्रकाश की अध्यक्षता में विकास खंड परिसर औरैया में जनपद स्तरीय एक दिवसीय तिलहन मेला एवं प्रमोशन आफ एग्रीकल्चरल मैकेनाइजेशन फार इन-सीटू मैनेजमेंट ऑफ़ क्रॉप रेजीड्यू योजनान्तर्गत कृषको को पराली न जलाये जाने के लिए जागरूक करने के लिए गोष्ठी का आयोजन किया गया। जिलाधिकारी द्वारा कृषकों को पराली न जलाने के लिए जागरूक करते हुए मिट्टी पर्यावरण एवं स्वास्थ्य पर होने वाले दुष्प्रभावों से अवगत कराया गया तथा कृषकों को अपने आसपास के कृषिको को भी जागरूक करने के लिए प्रोत्साहित किया गया। भारतीय परंपरा में श्री अन्न पहले से ही है हमारा उद्देश्य श्री अन्य की ज्यादा से ज्यादा खेती करना है। डॉक्टर भी श्री अन्न का सेवन करने के लिए सलाह देते हैं। कृषको को अपनी फसलों में रासायनिक कीटनाशकों (कैमिकल्स) का प्रयोग कम करने के लिए भी सलाह दी गयी।
जिला अध्यक्ष, भारतीय जनता पार्टी औरैया द्वारा कृषको को अवगत कराया गया, कि शासन की मन्शा कृषकों की आय दोगुनी करने की है। देश का गरीब व कमजोर लोगों की मदद कैसे की जाए इसके लिए विभिन्न योजनाओं के माध्यम से लाभान्वित किया जा रहा है। आज कृषकों का जागरुक होना अत्यंत आवश्यक है। कृषको का ध्यान खेती पर रहेगा तो पैदावार अधिक होगी। पैदावार अधिक होने से निश्चित तौर पर आमदनी दोगुनी होगी। कृषक पाराली न जलाकर पराली को अपने नजदीकी निराश्रित गौशालाओं में ले जाकर उसके बदले में गोबर खाद प्राप्त कर सकते हैं, जिससे कृषकों को खाद प्राप्त होगी तथा पर्यावरण भी दूषित नहीं होगा। कृषकों को मिलेटस अनाजों की खेती करने व उसका सेवन करने हेतु सलाह दी गयी। जिससे उनका स्वास्थ्य सही रहे। प्रभारी जिला अध्यक्ष भारतीय जनता पार्टी द्वारा कृषकों को श्री अन्न की पैदावार को बढ़ाने एवं इसका अधिक सेवन करने की सलाह दी गयी। उप कृषि निदेशक प्रदीप कुमार द्वारा कृषकों को पराली प्रबंधन हेतु जानकारी देते हुए अवगत कराया गया कि पहले कृषकों के पास जानवर अधिक होने से पराली भूसे के रूप में प्रयोग में लाई जाती थी आज जानवर कम होने से यह समस्या उत्पन्न हो रही है। अतः कृषक फसल अवशेष को खेत में जलाने की अपेक्षा उससे कंपोस्ट खाद तैयार कर खेत में प्रयोग करें। डॉक्टर अनन्त कुमार कृषि वैज्ञानिक द्वारा पराली प्रबंधन हेतु कृषकों को जागरुक करते हुए अवगत कराया कि मिट्टी अनन्त जीवों की आत्मा है पराली जलाकर हम इनको नष्ट कर रहे हैं। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डॉक्टर भगवान सिंह द्वारा कृषको को अवगत कराया गया कि कृषक अपनी पराली गौव आश्रय स्थलो पर ले जाकर बदले में निशुल्क गोबर खाद प्राप्त कर सकते हैं। यदि कोई गोबर खाद देने से मना करता है तो तुरंत अवगत काराये। जिला कृषि अधिकारी शैलेंद्र कुमार वर्मा द्वारा कृषको को पराली प्रबंधन से अवगत कराते हुए विभाग में संचालित संबंधित विभिन्न योजनाओं से अवगत कराया गया। उन्होंने कृषको को फसल बीमा कराने के लिए जागरूक किया तथा यूरिया का अधिक प्रयोग न करते हुए उसके स्थान पर नैनो यूरिया एवं नैनो डी०ए०पी० का प्रयोग करने के लिए कहा गया। गोष्ठी में प्रदीप कुमार के उप कृषि निदेशक, शैलेंद्र कुमार वर्मा जिला कृषि अधिकारी, डॉक्टर अनन्त कुमार कृषि वैज्ञानिक, विमलेश कुमार भूमि संरक्षण अधिकारी (अभि०), विजय सिंह भूमि संरक्षण अधिकारी, दिबियापुर, हिमांशु रंजन श्रीवास्तव उप संभागीय कृषि प्रसार अधिकारी एवं डा०भगवान सिंह मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी इत्यादि अधिकारी/ कर्मचारी कृषक रहे।