करोड़ों के हुए घोटाले में फंसे प्रधानों द्वारा बचने के लिए शासन पर दबाव बनाने का किया गया प्रयास !

प्रधान समूह द्वारा डीएम व परियोजना निदेशक को ज्ञापन देकर जिला कंसलटेंट को ठहराया दोषी
ग्लोबल टाइम्स-7 न्यूज़ नेटवर्क
संवाददाता तहसील मैंथा
राकेश कुमार मिश्र
03 मार्च 2023
शिवली कानपुर देहात,
कानपुर देहात में स्वच्छ भारत मिशन के फेस टू में ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन कार्य के नाम पर करोड़ों रुपए के हुए घोटाले में प्रधानों के अधिकार सीज करने के निर्देश के बाद जिले भर के प्रधानों में हड़कंप मचा है। घोटाले में शामिल ग्राम प्रधानों ने गुरुवार को एक राय होकर डीएम व परियोजना निदेशक को ज्ञापन देकर प्रधानों की कार्यवाही रोके जाने की मांग की है। इससे घोटाले में फंसे प्रधान अपने को बचाने के लिए अधिकारियों की चौखट पर दस्तक दे रहे हैं जबकि वास्तविकता तो यह है कि सभी घोटाले आपसी सहमति से किए गए हैं|
कानपुर देहात में वर्ष 2021 22 में स्वच्छ भारत मिशन के फेस टू में ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन कार्य के लिए करोड़ों रुपए की सीसीएल के द्वारा शासन से मंजूरी मिली थी जनपद के 10 विकास खंडों के 195 ग्राम पंचायतों के प्रधानों ने जिला स्तर के कंसलटेंट के माध्यम से करोड़ों रुपए की धनराज की निकासी की थी पूरे जनपद में 3 करोड़ 72 लाख निकाले जाने की पुष्टि हुई थी। करोड़ों रुपए के घोटाले की खबर मीडिया में प्रसारित होने के बाद अफसरों ने संज्ञान लिया और मामले की जांच कराई जांच में घोटाले की पुष्टि होने के बाद अपर मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश शासन मनोज कुमार सिंह ने कार्यवाही के निर्देश दिए। अपर मुख्य निदेशक के निर्देश पर कानपुर मंडल के उप निदेशक पंचायती राज अभय कुमार साही कानपुर देहात की तत्कालीन डीपीआरओ सहित वर्तमान डीपीआरओ अभिलाष बाबू को घोटाले में संलिप्त मानकर निलंबित कर दिया गया। जबकि घटना में संलिप्त ग्राम विकास अधिकारी राजीव द्विवेदी और पुनीत त्रिपाठी का भी नाम प्रकाश में आने के बावजूद अब तक कार्यवाही नहीं हो सकी है। वही अपर मुख्य सचिव ने 195 ग्राम प्रधानों के खिलाफ 95 जी एक्ट के तहत कार्यवाही करने के निर्देश दिए थे जिसके बाद से प्रधानों में हड़कंप मच गया है प्रधानों के अधिकार सीज होने की आशंका और खातों पर धारण पर लगाई गई रोक के बाद अब प्रधान बेबस और लाचार नजर आ रहे हैं घोटाले में फंसने के बाद ग्राम प्रधानों ने एक राय होकर अब पूरा ठीकरा जिला कंसलटेंट के सिर पर फोड़ना शुरू कर दिया है। गुरुवार को अखिल भारतीय प्रधान संगठन के नेतृत्व में करीब एक सैकड़ा ग्राम प्रधानों ने डीएम नेहा व परियोजना निदेशक डीआरडीए दिनेश यादव को ज्ञापन सौंपकर प्रधानों पर होने वाले कार्यवाही को रोके जाने की मांग की है। ग्राम प्रधानों ने ज्ञापन में कहा है कि उनके डोंगल को जिला स्तरीय अधिकारियों ने दबाव बनाकर जिला कंसलटेंट को दिलाए थे जहां से डोंगल का उपयोग कर धनराशि आहरण कर ली गई। इसके अतिरिक्त ग्राम प्रधानों को डोंगल के क्रियाशील करने का प्रशिक्षण भी नहीं दिया गया है। इससे इतने बड़े भ्रष्टाचार में प्रधानों की दोषी सिद्ध करना प्रधानों के साथ अन्याय है। ग्राम प्रधानों ने कार्यवाही को रोकते हुए घटना में संलिप्त अधिकारियों व संविदा कर्मियों के विरुद्ध कार्यवाही किए जाने की मांग की है। ज्ञापन देने वालों में प्रमुख रूप से जनार्दन सिंह भरत सेंगर, नौशाद अली, राजा बाबू अग्निहोत्री पंकज पाल सहित करीब एक सैकड़ा प्रधान गण मौजूद रहे।