जनपद में 4321 गरीब बेटियों की ‘बाबुल’ बनी सरकार

ग्लोबल टाईम्स 7
न्यूज नेटवर्क टीम
लखनऊ/फतेहपुर ।
दिनांक
18/12/2023
बेटी के शादी की चिंता में डूबे गरीब पिता के लिए सरकार की योजना मददगार बन गई। सामूहिक विवाह में बाबुल बनी सरकार ने गरीब बेटियों की जिंदगी में खुशियां बिखेर दीं। सात साल में 21.31 करोड़ खर्च कर सरकार ने 4321 बेटियों के हाथ पीले कराए। गरीब पिता सरकार की पहल को सराहते नहीं थक रहे हैं।
सामूहिक विवाह की शुरुआत वर्ष 2016 में की गई थी। जिसके बाद दो साल तक कोई भी विवाह का आयोजन नहीं कराया जा सका। 2019 से शुरू होने वाले सामूहिक विवाह के आयोजन में साल दर साल बदलाव किए जा रहे हैं। बीते साल विधवा पुर्नविवाह, गरीब कन्या विवाह के मिलने वाले अनुदान को समाप्त कर सामूहिक विवाह में शामिल कर लिया गया था। वहीं चालू वर्ष में इसके लाभ के लिए मैनुअल आवेदनों को समाप्त कर ऑनलाइन आवेदन प्रणाली को पारदर्शिता बनाए रखने के लिए लागू कर दिया गया। इतना ही नहीं आयोजन में एक स्थान पर भीड़ को कम किए जाने के लिए कोरोना काल के बाद विधानसभावार कार्यक्रमों का आयोजन कराया जा रहा है। इतना ही नहीं योजना के तहत ऑनलाइन आवेदनों की तिथि को निश्चित तिथि से एक सप्ताह पूर्व की मान्यता ही दी गई है। हालांकि मैनुअल आवेदन के तहत मौके पर पहुंचने वाले आवेदकों को शामिल किया जाता रहा है। जिससे अव्यवस्थाएं होती रही हैं।
इस प्रकार हुए साल दर साल आवेदन
वार्षिक शादी धनराशि में जोडों में खर्च विवरण
2019 में 431 जोड़े 181.09 लाख
2020 में 513 जोड़े 261.63 लाख
2021में 361 जोड़े 184.11 लाख
2022 में 810 जोड़े 413.10 लाख
2023 में 1460 जोडें 741.34 लाख
2024 में 746 जोड़े 380.46 लाख
अनुपस्थित आवेदकों सहित समय सीमा के बाद आवेदन करने वाले अन्य जोड़ों को स्वत अगली तिथि के लिए फारवर्ड कर दिया गया है। जल्द ही पुन सामूहिक विवाह की तिथि तय कर आयोजन कराया जाएगा। -अवनीश कुमार यादव, जिला समाज कल्याण अधिकारी