उत्तर प्रदेश

सीएमओ ने डॉक्टर से कहा नौकरी करनी है तो रुपए देने होंगे

सिस्टम है, ऊपर भी भेजना पड़ता है, वीडियो वायरल होने पर मचा हड़कंप,पीड़ित डॉक्टर ने सरकार से लगाई गुहार

जीटी-7, डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क कानपुर मंडलब्यूरो रिपोर्ट रामप्रकाश शर्मा।
24 फरवरी 2024

#औरैया।

डॉक्टर की कमी से जूझ रहे स्वास्थ्य विभाग में डॉक्टरों की नियुक्ति के लिए डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक भले ही प्रयासरत हो लेकिन औरैया के सीएमओ सुनील वर्मा शासन की इस मंशा पर पतीला लगाते चले आ रहे है। कभी किसी डॉक्टर को जूते से मारने तो कभी रिश्वत लेने के आरोप लगने के बाद अब एक वीडियो रुपए लेते वायरल हो गया। जिसमें सीएमओ सुनील वर्मा कह रहे की नौकरी करनी है तो मानदेय(रिश्वत का कोड वर्ड) देने ही पड़ेंगे यह सिस्टम है ऊपर तक जाता है। वीडियो वायरल के बाद हड़कंप मचा हैं। सीएमओ इस वीडियो को पुराना बताकर फर्नीचर खरीद का लेनदेन बता रहे हैं। उधर पीड़ित डॉक्टर ने सरकार से गुहार लगाई है।
स्वास्थ्य विभाग में नियुक्त डॉक्टर विशाल अग्निहोत्री कुष्ठ रोग में नियुक्त है। उनका आरोप है की सीएमओ उनसे नौकरी करने के नाम पर हर माह आठ हजार रुपए की मांग कर रहे है। वह पहले भी डर के कारण रिश्वत दे चुका है। अब वह परेशान हो गया है, उनके पास पर्याप्त साक्ष्य हैं। उधर वीडियो वायरल में सीएमओ सुनील वर्मा कह रहे है की मानदेय मेरा वापसी करो तो डॉक्टर कहता है की कैसा मानदेय तो सीएमओ ने कहा की मेरी पेनाल्टी जो तुमसे लगती है। इसके बाद सीएमओ ने कहा की ये मानदेय ऊपर तक जाता है। सब सिस्टम है। यह सब व्यस्था का उतार चढ़ाव को बैलेंस करने का मानदेय है। तुम बढ़िया आदमी हो इसलिए कम ले रहा हूं। इसके बाद कुछ नोट टेबल पर जाते हैं। जिसे सीएमओ कागज के नीचे रखकर ऊपर से अपना मोबाइल रख देते है। वीडियो वायरल होने पर हड़कंप मचा तो सीएमओ ने सफाई दी की वीडियो पुराना है और फर्नीचर वाले से रुपए वापिस लिए थे यह वही हैं। उधर डीएम नेहा प्रकाश ने सीएमओ से स्पष्टीकरण मांगा है। पीड़ित डॉक्टर विशाल अग्निहोत्री का कहना है की सीएमओ सुनील वर्मा की कार्य शैली से विभाग परेशान है। उसे कुछ होता है तो परिवार सड़क पर आ जाएगा। पीड़ित ने सरकार से कार्रवाई की गुहार लगाई है। बताते चले की इससे पहले सीएमओ सुनील वर्मा ने अयाना अधीक्षक को जूते से मारने तक की धमकी दे डाली थी। इसके अलावा जिले में झोलाछाप से प्रैक्टिस के नाम पर वसूली का वीडियो भी आया था। ऐसे कई कारनामे उजागर हुए लेकिन स्वास्थ्य विभाग ने सभी मामलों को ठंडे बस्ते में डाल दिया।

Global Times 7

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